मंकीपॉक्स: अफ्रीका में 6 हफ़्तों में 17 मौतें, अमर उजाला ख़बर

विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने मंकीपॉक्स (एमपॉक्स) के बढ़ते मामलों पर चिंता जताई है। पिछले छह हफ्तों में अफ्रीका में इस वायरस से 17 लोगों की मौत हुई है और 2800 से अधिक लोग संक्रमित हुए हैं। कांगो, लाइबेरिया, केन्या और घाना में मामले अधिक हैं। मलेशिया, नीदरलैंड और स्पेन जैसे देशों ने भी पहली बार क्लेड आईबी मंकीपॉक्स वायरस की सूचना दी है। WHO के अनुसार, इटली, मलेशिया, नीदरलैंड, पुर्तगाल, स्पेन और अमेरिका में बिना यात्रा इतिहास वाले लोगों में भी संक्रमण पाया गया है, जो वायरस के स्थानीय प्रसार का संकेत है। पिछले साल भारत में भी एमपॉक्स के मामले सामने आए थे, जिसके बाद WHO ने इसे स्वास्थ्य आपातकाल घोषित कर दिया था।

Highlights

ज़रूर, यहाँ लेख के मुख्य अंश बुलेट बिंदुओं में दिए गए हैं:

* डब्ल्यूएचओ के अनुसार, एमपॉक्स कई देशों में फैल रहा है, जिससे अफ्रीका में छह हफ्तों में 17 मौतें हुईं।
* कांगो लोकतांत्रिक गणराज्य, लाइबेरिया, केन्या और घाना में सबसे ज्यादा मामले सामने आए।
* इटली, मलेशिया, नीदरलैंड, पुर्तगाल और स्पेन ने बिना यात्रा इतिहास वाले लोगों में भी मामले दर्ज किए।
* मंकीपॉक्स एक वायरल संक्रमण है, जिसके लक्षणों में बुखार, चकत्ते और मांसपेशियों में दर्द शामिल हैं। भारत में पिछले साल भी मामले सामने आए थे।

ज़रूर, यहाँ हिंदी में रूपांतरित सामग्री है, जिसमें भावनात्मक और जानकारीपूर्ण तत्व शामिल हैं:

ख़तरा मंडरा रहा है! एमपॉक्स का बढ़ता प्रकोप, क्या हम तैयार हैं?

डब्ल्यूएचओ की चेतावनी: एमपॉक्स ने फिर बढ़ाई चिंता!

दोस्तों, दुनिया भर में संक्रामक बीमारियों का खतरा लगातार बढ़ता जा रहा है। कोरोना महामारी ने हमें झकझोर कर रख दिया था, और अब, मंकीपॉक्स (एमपॉक्स) नाम का एक और खतरा मंडरा रहा है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने चेतावनी दी है कि एमपॉक्स कई देशों में तेजी से फैल रहा है, और इसने अफ्रीका में पिछले छह हफ्तों में 17 लोगों की जान ले ली है।

  • अफ्रीका में हालत गंभीर: डब्ल्यूएचओ की रिपोर्ट के अनुसार, 14 सितंबर से 19 अक्टूबर तक अफ्रीका के 17 देशों में 2,862 लोग एमपॉक्स से संक्रमित हुए, जिनमें से 17 की दुखद मौत हो गई। कांगो लोकतांत्रिक गणराज्य, लाइबेरिया, केन्या और घाना जैसे देशों में सबसे ज़्यादा मामले सामने आए हैं।
  • नए देशों में दस्तक: मलेशिया, नामीबिया, नीदरलैंड, पुर्तगाल और स्पेन जैसे देशों में भी पहली बार एमपॉक्स के मामले सामने आए हैं, जिससे वैश्विक स्तर पर चिंता बढ़ गई है।

“यह संक्रामक और जानलेवा रोग तेजी से कई देशों में फैलता जा रहा है, जिसको लेकर सभी लोगों को अलर्ट रहने की आवश्यकता है।” – विश्व स्वास्थ्य संगठन

मंकीपॉक्स: संक्रमण का बढ़ता खतरा

यह सिर्फ अफ्रीका की समस्या नहीं है। इटली, मलेशिया, नीदरलैंड, पुर्तगाल, स्पेन और अमेरिका जैसे देशों में भी बिना किसी यात्रा इतिहास वाले लोगों में संक्रमण के मामले सामने आए हैं, जो वायरस के स्थानीय प्रसार का संकेत देते हैं। यह डरावना है, क्योंकि इसका मतलब है कि वायरस हमारे समुदायों में फैल रहा है, और हमें सावधान रहने की जरूरत है।

  • ट्रांसमिशन का खतरा: अफ्रीकी देशों के अलावा अब इन देशों में भी एमपॉक्स वायरस के कम्युनिटी ट्रांसमिशन का जोखिम देखा जा रहा है।

क्या है मंकीपॉक्स (एमपॉक्स)?

मंकीपॉक्स, जिसे एमपॉक्स भी कहा जाता है, एक वायरल संक्रामक रोग है जो निकट संपर्क के माध्यम से फैलता है। इसके लक्षणों में बुखार, लिंफ नोड्स में सूजन, गले में खराश, मांसपेशियों में दर्द, त्वचा पर चकत्ते और पीठ दर्द शामिल हैं। यह मुख्य रूप से त्वचा से त्वचा के संपर्क से फैलता है।

पिछले साल भी फैला था संक्रमण

अगर हम सतर्क नहीं रहे, तो स्थिति और भी खराब हो सकती है। अकेले सितंबर 2023 में, डब्ल्यूएचओ के सभी क्षेत्रों के 42 देशों ने कुल 3,135 पुष्ट मामलों की सूचना दी, जिनमें 12 मौतें शामिल हैं।

भारत में भी देखा गया था एमपॉक्स

पिछले साल अगस्त-सितंबर में भारत में भी एमपॉक्स के मामले रिपोर्ट किए गए थे। केरल में इस रोग के खतरनाक वैरिएंट क्लेड 1 के मामले रिपोर्ट किए गए थे। इस स्ट्रेन के कारण बढ़ते जोखिमों को देखते हुए डब्ल्यूएचओ ने 14 अगस्त 2023 को मंकीपॉक्स को स्वास्थ्य आपातकाल घोषित कर दिया था।

अब क्या करें?

यह समय डरने का नहीं, बल्कि जागरूक और सतर्क रहने का है। कुछ सरल कदम उठाकर हम खुद को और अपने प्रियजनों को एमपॉक्स से बचा सकते हैं:

  • जागरूक रहें: एमपॉक्स के लक्षणों के बारे में जानें और संदिग्ध मामलों के बारे में जानकारी रखें।
  • सुरक्षित रहें: निकट संपर्क से बचें, खासकर अगर किसी में लक्षण दिखाई दे रहे हैं।
  • डॉक्टर से सलाह लें: यदि आपमें कोई लक्षण दिखाई देते हैं, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।

“स्वास्थ्य ही धन है।”

चलिए, मिलकर इस खतरे का सामना करें!

यह हम सभी की जिम्मेदारी है कि हम अपने समुदायों को सुरक्षित रखें। जागरूक रहकर, सुरक्षित रहकर और समय पर कार्रवाई करके, हम एमपॉक्स के प्रसार को रोक सकते हैं और अपने प्रियजनों को सुरक्षित रख सकते हैं।

अभी कार्रवाई करें:

  • अपने डॉक्टर से एमपॉक्स के बारे में और जानकारी प्राप्त करें।
  • अपने परिवार और दोस्तों के साथ इस जानकारी को साझा करें।
  • अपने समुदाय को सुरक्षित रखने में मदद करें।

अस्वीकरण: यह लेख मेडिकल रिपोर्टस से एकत्रित जानकारियों के आधार पर तैयार किया गया है। लेख में उल्लेखित तथ्यों व सूचनाओं को अमर उजाला के पेशेवर पत्रकारों द्वारा जांचा व परखा गया है। इस लेख को तैयार करते समय सभी तरह के निर्देशों का पालन किया गया है। संबंधित लेख पाठक की जानकारी व जागरूकता बढ़ाने के लिए तैयार किया गया है। अमर उजाला लेख में प्रदत्त जानकारी व सूचना को लेकर किसी तरह का दावा नहीं करता है और न ही जिम्मेदारी लेता है। उपरोक्त लेख में उल्लेखित संबंधित बीमारी के बारे में अधिक जानकारी के लिए अपने डॉक्टर से परामर्श लें।

FAQ

ज़रूर, यहाँ मंकीपॉक्स (एमपॉक्स) पर आधारित 10 अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न (FAQ) हिंदी में दिए गए हैं, जो आपके दिए गए लेख पर आधारित हैं:

मंकीपॉक्स (एमपॉक्स) पर अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

  1. मंकीपॉक्स क्या है?
    मंकीपॉक्स, जिसे अब एमपॉक्स कहा जाता है, एक वायरल संक्रामक रोग है। यह निकट संपर्क के माध्यम से फैलता है।

  2. मंकीपॉक्स के लक्षण क्या हैं?
    इसके लक्षणों में बुखार, लिंफ नोड्स में सूजन, गले में खराश, मांसपेशियों में दर्द, त्वचा पर चकत्ते और पीठ दर्द शामिल हैं।

  3. मंकीपॉक्स कैसे फैलता है?
    यह मुख्य रूप से त्वचा से त्वचा के संपर्क से फैलता है।

  4. डब्ल्यूएचओ ने मंकीपॉक्स के बारे में क्या कहा है?
    विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने कहा है कि एमपॉक्स कई देशों में फैल रहा है और यह एक जानलेवा वायरस है। हाल ही में अफ्रीका में इससे कई लोगों की मौत हुई है।

  5. किन देशों में मंकीपॉक्स के मामले बढ़ रहे हैं?
    सबसे ज्यादा मामले कांगो लोकतांत्रिक गणराज्य, लाइबेरिया, केन्या और घाना जैसे अफ्रीकी देशों से सामने आए हैं। इसके अलावा, इटली, मलेशिया, नीदरलैंड, पुर्तगाल, स्पेन और अमेरिका में भी मामले सामने आए हैं।

  6. क्या मंकीपॉक्स भारत में भी फैल रहा है?
    पिछले साल (2023) अगस्त-सितंबर में भारत में भी एमपॉक्स के मामले रिपोर्ट किए गए थे, विशेष रूप से केरल में।

  7. मंकीपॉक्स का खतरा किन लोगों को अधिक है?
    कुछ रिपोर्ट्स के अनुसार, समलैंगिक पुरुषों में इस वायरस के संक्रमण का जोखिम अधिक देखा गया है।

  8. मंकीपॉक्स के कितने स्ट्रेन हैं?
    केरल में क्लेड 1 स्ट्रेन के मामले रिपोर्ट किए गए थे, जो एक खतरनाक वैरिएंट है।

  9. मंकीपॉक्स से बचाव के लिए क्या करें?
    चूंकि यह लेख मेडिकल रिपोर्ट पर आधारित है, इसलिए बचाव के बारे में अधिक जानकारी के लिए अपने डॉक्टर से परामर्श लें।

  10. डब्ल्यूएचओ ने मंकीपॉक्स को लेकर क्या घोषणा की थी?
    बढ़ते जोखिमों को देखते हुए डब्ल्यूएचओ ने 14 अगस्त 2024 को मंकीपॉक्स को स्वास्थ्य आपातकाल घोषित कर दिया था।

यह जानकारी आपके दिए गए लेख पर आधारित है। किसी भी स्वास्थ्य संबंधी चिंता के लिए हमेशा अपने चिकित्सक से सलाह लें।

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